तुम्हें खोने नहीं देगी मेरी ये साँसों की दौलत,
दफन कर दूंगा मैं सारे मेरे अरमानों की दौलत।
मुझे फुर्सत से तुम पढ़ना कहानी मैं किताबों की,
हंसी होंठो पे लाएगी मेरी उन बातों की दौलत।
तुम्हारी ज़िन्दगी महकेगी शक इस पर कभी न हो,
तुम्हें आबाद रखेगी मेरे जज्बातों की दौलत।
ये माना कि मिली तुमको हुस्न औ इश्क की जागीर,
तुम्हारे गम खरीदेगी समर्पित भावों की दौलत।
कभी इन वक्त के पैरों में छाले होंगे यादों के,
तभी नदियां बहायेगी मेरी इन आँखों की दौलत।
✍🏻 नरेंद्रपाल जैन।
दफन कर दूंगा मैं सारे मेरे अरमानों की दौलत।
मुझे फुर्सत से तुम पढ़ना कहानी मैं किताबों की,
हंसी होंठो पे लाएगी मेरी उन बातों की दौलत।
तुम्हारी ज़िन्दगी महकेगी शक इस पर कभी न हो,
तुम्हें आबाद रखेगी मेरे जज्बातों की दौलत।
ये माना कि मिली तुमको हुस्न औ इश्क की जागीर,
तुम्हारे गम खरीदेगी समर्पित भावों की दौलत।
कभी इन वक्त के पैरों में छाले होंगे यादों के,
तभी नदियां बहायेगी मेरी इन आँखों की दौलत।
✍🏻 नरेंद्रपाल जैन।
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